श्रीराम जन्मभूमि मंदिर अद्भुत प्रकाश से जगमगाया — जैसे हर दीपक भगवान राम के स्वागत में जल उठा हो
अयोध्या, 21 अक्टूबर 2025 —
इस वर्ष की दिवाली पर अयोध्या धाम ने एक बार फिर इतिहास रच दिया। पूरी राम नगरी दिव्य प्रकाश से सराबोर हो उठी। सरयू के तट पर लाखों दीपकों की जगमगाहट ने न सिर्फ वातावरण को आलोकित किया, बल्कि श्रद्धा और भक्ति की भावना को भी नई ऊंचाइयों पर पहुंचा दिया।
श्रीराम जन्मभूमि मंदिर को विशेष रूप से सजाया गया था, जहाँ की भव्यता और रौशनी को देखकर ऐसा प्रतीत हुआ मानो स्वयं भगवान राम अपने वनवास के बाद फिर अयोध्या लौट आए हों। मंदिर के शिखर से लेकर परिसर तक, हर कोना दीपों, फूलों और रंगोली से सजा हुआ था। दर्शन के लिए देशभर से लाखों श्रद्धालु पहुंचे, जिनकी आंखों में आस्था की चमक और दिलों में भक्ति की गहराई साफ़ झलक रही थी।
दीपोत्सव कार्यक्रम के अंतर्गत, सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ, रामलीला मंचन, भजन संध्या और दीप जलाने की भव्य परंपरा ने इस आयोजन को और भी खास बना दिया। प्रशासन की ओर से सुरक्षा और व्यवस्था के लिए विशेष इंतजाम किए गए थे, जिससे श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो।
अयोध्या के इस अलौकिक दीपोत्सव ने न केवल धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व को उजागर किया, बल्कि यह संदेश भी दिया कि असत्य पर सत्य की जीत और अंधकार पर प्रकाश की विजय ही दिवाली का असली संदेश है।
इस अवसर पर प्रदेश के मुख्यमंत्री और कई अन्य गणमान्य अतिथियों की भी उपस्थिति रही। सोशल मीडिया पर अयोध्या की दिवाली की तस्वीरें और वीडियो लाखों लोगों तक पहुँचीं, जिसने देश-विदेश के लोगों को भावनात्मक रूप से जोड़ दिया।
सचमुच, अयोध्या की यह दिवाली सिर्फ एक त्योहार नहीं, बल्कि एक अध्यात्मिक अनुभव बन चुकी है।







