मानव-वन्यजीव संघर्ष में मृतकों के परिजनों को अब 10 लाख, महिला कर्मियों को नाइट शिफ्ट की मंजूरी
देहरादून: मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की अध्यक्षता में बुधवार को सचिवालय में कैबिनेट की महत्वपूर्ण बैठक संपन्न हुई। बैठक में कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी, सौरभ बहुगुणा सहित अधिकांश मंत्री मौजूद रहे, जबकि सतपाल महाराज और धन सिंह रावत वर्चुअल माध्यम से जुड़े। बैठक की शुरुआत उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलन में अहम भूमिका निभाने वाले वरिष्ठ आंदोलनकारी एवं पूर्व कैबिनेट मंत्री दिवाकर भट्ट के निधन पर दो मिनट का मौन रखकर उन्हें श्रद्धांजलि देने के साथ हुई। मंत्रिमंडल ने राज्य निर्माण और विकास में उनके योगदान को नमन किया।
इसके बाद बैठक में विभिन्न विभागों के अहम प्रस्तावों पर विस्तार से चर्चा की गई। कैबिनेट बैठक के समापन पर कुल 7 महत्वपूर्ण प्रस्तावों को मंजूरी दी गई।
कैबिनेट के प्रमुख फैसले:
- पर्यावरण संरक्षण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के लेखा-जोखा को विधानसभा के पटल पर रखने की स्वीकृति।
- अभियोजन संवर्ग ढांचे के पुनर्गठन को मंजूरी, साथ ही सहायक अभियोजन अधिकारियों के 46 नए पदों का सृजन।
- ऊर्जा विभाग के वार्षिक वित्तीय प्रतिवेदन (2022–23) को विधानसभा में प्रस्तुत करने की अनुमति।
- राज्य की दुकानों और संस्थानों में महिला कर्मचारी अब रात 9 बजे से सुबह 6 बजे तक कार्य कर सकेंगी। इसके लिए सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए जाएंगे और महिलाओं की लिखित सहमति अनिवार्य होगी।
- उत्तराखंड दुकान और स्थापन (रोजगार विनियमन और सेवा शर्त) अधिनियम 2017 में संशोधन हेतु अध्यादेश 2025 को मंजूरी।
- देहरादून में प्रस्तावित मेट्रो नियो परियोजना को लेकर केंद्रीय आवासन एवं शहरी विकास मंत्रालय के सुझावों को मंत्रिमंडल के समक्ष रखकर मार्गदर्शन लेने का निर्णय।
- मानव-वन्यजीव संघर्ष राहत वितरण निधि नियमावली-2025 में संशोधन को हरी झंडी।
मानव-वन्यजीव संघर्ष पर बड़ा फैसला
राज्य में मानव और वन्यजीवों के बीच बढ़ती घटनाओं को देखते हुए कैबिनेट ने राहत राशि बढ़ाने का बड़ा निर्णय लिया है। अब ऐसे मामलों में मृतक के परिजनों को 10 लाख रुपये की अनुग्रह राशि दी जाएगी, जो पहले 6 लाख रुपये थी। वहीं, घायलों के इलाज का पूरा खर्च राज्य सरकार वहन करेगी।
इसके साथ ही धामी मंत्रिमंडल ने शिक्षा विभाग से जुड़े दो प्रस्तावों को फिलहाल स्थगित कर दिया है और उनके पुनः परीक्षण के निर्देश जारी किए हैं।







